गंदे पानी से होने वाली बीमारियों से मौत की संख्या दिन पर दिन बढ़ रही है. घर में इस्तेमाल की जाने वाली पानी और पीने वाली पानी के कारण शहर और गांव दोनों जगह मौत की संख्या में लगातार बढ़ोतरी हुई है. इससे भारत भी अछूता नहीं है. वही् देश की ज्यादातर हिस्से ऐसे हैं जो सूखे की मार झेल रहे हैं. भारत में अब भी ऐसी जगहें हैं जहां पर लोगों को पीने तक का साफ पानी नहीं मिल पाता है. एक रिपोर्ट के मुताबिक गंदे पानी के कारण कई बीमारियां जानलेवा रूप ले लेती हैं. आज हम आपको भारत में गंदे पानी से होने वाली बीमारियों की पूरी लिस्ट देंगे.
डायरिया
भारत में डायरिया बीमारी काफी फेमस है. यह अक्सर 5 साल से कम उम्र वाले बच्चों को होती है. सिर्फ इतना ही नहीं यह मौत का कारण भी बन सकती है. डायरिया गंदा खाना और पानी के कारण होते हैं. आपकी जानकारी के लिए बता दें कि अगर किसी को डायरिया हो जाए तो इसका असर उस व्यक्ति पर 2 हफ्ते तक रहता है. इस बीमारी में व्यक्ति के शरीर में पानी की कमी होने लगती है. जिसके कारण मौत भी हो सकती है.
डायरिया के लक्षण: दस्त, उल्टी, चक्कर आना, चेतना की कमी, डिहाइड्रेशन, त्वचा का पीला पड़ना, पेशाब ठीक से न होना, कुछ ऐसे भी केस हुए है जिसमें मल में खून आने लगता है. गंदे पानी में पाई जाने वाली संक्रमण से डायरिया होता है. समाज का गरीब तपका अक्सर गंदे पानी पीने के लिए बाध्य हो जाता है. यही कारण है उन्हें अक्सर इसकी शिकायत होती है.
टाइफ़ॉइड
साल्मोनेला टाइफ़ी बैक्टीरिया के कारण होने वाला टाइफ़ॉइड अक्सर ग्रामीण क्षेत्र में साफ-सफाई की कमी के कारण लोगों को होते हैं. यह गंदे पानी और खाना के कारण होता है.
दस्त
इंसान या जानवर को गंदा पानी पीने से अक्सर दस्त की समस्या होती है. पानी में पाई जाने वाली वायरस, बैक्टीरिया और प्रोटोज़ोअन के कारण हो सकता है.
हेपेटाइटिस ए
एक वायरल बीमारी जो लिवर को प्रभावित करती है, हेपेटाइटिस ए मल से दूषित पानी या भोजन से फैलती है.
पेचिश
खूनी दस्त के रूप में भी जाना जाता है, पेचिश गंदा पानी और खाने के कारण होता है, और आंत की सूजन का कारण बनता है.
ये भी पढ़ें: अंडे का सफेद हिस्सा खाएं या पूरा एग, आज जान लीजिए क्या है खाने का तरीका
पोलियो
मल से निकले पदार्थ वाला गंदा पानी पीने से पोलियो हो सकता है.
मैदान पर चीते की रफ्तार से दौड़ते हैं विराट कोहली, ये है फिटनेस का असली राज
गंदे पानी से होने वाली दूसरी बीमारियों में शामिल हैं: अमीबिक पेचिश, शिगेलोसिस, क्रिप्टोस्पोरिडिओसिस, साइक्लोस्पोरियासिस, माइकोबैक्टीरियम मेरिनम संक्रमण, लेप्टोस्पायरोसिस, ओटिटिस मीडिया और विब्रियो बीमारी.
Disclaimer: खबर में दी गई कुछ जानकारी मीडिया रिपोर्ट्स पर आधारित है. आप किसी भी सुझाव को अमल में लाने से पहले संबंधित विशेषज्ञ से सलाह जरूर लें.
Typhoid Diet: टायफाइड होने पर इन चीजों से बना लें दूरी, नहीं तो जान पर बन आएगी
Check out below Health Tools-
Calculate Your Body Mass Index ( BMI )